सफलता पाने के लिए क्या विचारों को बदलना क्यों है जरूरी?



शास्त्रों की बात , जानें धर्म के साथ जीवन में सफलत कौन नहीं पाना चाहता, लगभग प्रत्येक व्यक्ति का यही सपना होता है कि वह व्यक्ति एक दिन अपने परिश्रम के बल बूते पर सफलता को हासिल करें। परंतु आपको बता दें इसके लिए केवल परिश्रम करना ही काफी नहीं होता। बल्कि सफलता पाने के लिए व्यक्ति को अपने विचारों को बदलने और निखारने की भी आवश्यकता होती है। आज हम आपको कुछ ऐसे ही अनमोल विचारों से अवगत करवाने जा रहे हैं, जिसे अपने जीवन में अपनाने वाला व्यक्ति को सफलता पाने में बहुत मदद मिलती है। तो आइए जानते हैं बेहद कारगर अनमोल विचार-

सबसे पहला विचार-
कहा जाता है कि दुनिया में हर सफल व्यक्ति के पीछे नाकामियों की पूरी फेहरिस्त होती है, मगर व्यक्ति इनमें से अधिकांश को समय रहते पकड़कर, अपनी नाकामी को रोक सकता है। जानकार बताते हैं कि हर गलती के लिए माफी या सुधार की गुंजाइश हमेशा बनी रहती है। मगर इसके लिए सबसे जरूरी होता है, व्यक्ति द्वारा उसकी गलती को स्वीकारना।

नीतिकार व विद्वान बताते हैं कि सफलता हो या नाकामी, हर किसी का जवाब उसी वक्त देना कभी सही नहीं हो सकता है और न ही हमेशा इनका जवाब देना अच्छा होता है। बल्कि कई बार व्यक्ति को कुछ सवालों के जवाब वक्त पर छोड़ देने चाहिए।

प्राचीन समय में हुए विद्वान आदि का मानना था कि अक्सर बड़ी-बड़ी बातें करने वाला व्यक्ति अपने जीवन की बहुत छोटी-छोटी बातों को समझने में कमजोर रह जाता है। जिस कारण कभी कभी उसको इसका बहुत बुरा भुगतान पड़ जाता है।

इसके अलावा कहा जाता है सुख में तो हर किसी को हजार साथी बन जाते हैं, लेकिन हमेशा उस व्यक्ति की तलाश में रहना चाहिए जो आपके दुख और दर्द में भी आपके साथ समान रूप में मौजूद हो। जो व्यक्ति सुख में साथ दे मगर दुख में नहीं, वो हितकारी नहीं माना जाता है।

कहा जाता है कि जिस तरह किसी खाने वाली व पीने वाली वस्तु में भरपूर स्वाद होता है, ठीक उसी तरह मुख से निकलने वाले प्रत्येक शब्द का स्वाद होता है। इसलिए इन्हें किसी के आगे परोसने से पहले इन्हें एक बार चख जरूर लेना चाहिए कि कहीं उनमें कड़वाहट तो नहीं। अर्थात कुछ भी कहने से पहले शब्दों को चयन और उनके भावों को स्वयं को समझ जरूर लेना चाहिए।

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