26 करोड़ की टैक्स चोरी: लोहा कारोबारी अमन अग्रवाल गिरफ्तार, मृतकों के नाम पर बनाई फर्जी फर्में



रायपुर, छत्तीसगढ़ | राज्य वस्तु एवं सेवा कर (GST) विभाग ने टैक्स चोरी के एक बड़े नेटवर्क का पर्दाफाश करते हुए लोहा कारोबारी अमन अग्रवाल को गिरफ्तार किया है। अग्रवाल, जो अगस्त्य एंटरप्राइजेज और अग्रवाल एंटरप्राइजेज के संचालक हैं, पर आरोप है कि उन्होंने वर्ष 2023 से 2025 के बीच करीब 144 करोड़ रुपये की फर्जी खरीद दिखाकर लगभग 26 करोड़ रुपये की टैक्स चोरी को अंजाम दिया। मंगलवार, 11 जून को उन्हें न्यायालय में पेश किया जाएगा।

फर्जी फर्मों के जरिये टैक्स चोरी का जाल

जांच में यह खुलासा हुआ कि अमन अग्रवाल ने हुसैनी इंटरप्राइजेस, धन लक्ष्मी इंटरप्राइजेस, महावीर इंटरप्राइजेस, यूनिक इंटरप्राइजेस, अंसारी ट्रेडर्स, विनायक वेंचर्स, ललित ट्रेडलिंक और अगस्त्य इंटरप्राइजेस जैसे नामों से कई बोगस फर्में खड़ी कीं। इन कंपनियों के जरिए फर्जी खरीद दर्शाकर इनपुट टैक्स क्रेडिट (ITC) का दुरुपयोग किया गया। यही नहीं, अन्य जिलों के व्यापारियों को इस टैक्स क्रेडिट का लाभ दिलाया गया, जिससे सरकार को करोड़ों का नुकसान हुआ।

मृत व्यक्तियों के नाम पर बनाए गए फर्म

इस पूरे प्रकरण में सबसे चौंकाने वाला पहलू यह है कि कुछ बोगस फर्मों को उन व्यक्तियों के नाम पर पंजीकृत किया गया था, जिनकी मृत्यु 2010 में ही हो चुकी थी, जबकि उनके नाम से 2013 और 2015 में व्यापारिक गतिविधियों का रिकॉर्ड तैयार किया गया। जाहिर है, यह एक सोची-समझी साजिश थी, जिसमें जाली दस्तावेजों के सहारे सरकारी तंत्र को गुमराह कर टैक्स चुराया गया।

टैक्स चोरी के खिलाफ विभाग की सख्ती

स्टेट जीएसटी विभाग की विशेष टीम ने इस मामले में महीनों की निगरानी और दस्तावेज़ी जांच के बाद सोमवार को अमन अग्रवाल को हिरासत में लिया। विभाग ने स्पष्ट किया है कि यह कार्रवाई टैक्स चोरी के विरुद्ध उनकी "जीरो टॉलरेंस" नीति का हिस्सा है। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि इस तरह की फर्जीवाड़े पर लगातार निगरानी रखी जा रही है और भविष्य में भी ऐसी कार्रवाइयां तेज होंगी।


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