जबलपुर: स्कूली बच्चों को कैरियर चयन में मदद करने प्रारंभ होगा “आसमाँ के पार” कार्यक्रम

युवाओं को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए मार्गदर्शन प्रदान करने के साथ-साथ अब जिला प्रशासन द्वारा कल शनिवार से स्कूली बच्चों को कैरियर चयन में मदद करने आसमाँ के पार नाम से कैरियर गाइडेंस का कार्यक्रम प्रारंभ किया जा रहा है । आसमाँ के पार कार्यक्रम दसवीं, ग्यारहवीं और बारहवीं में अध्ययनरत बच्चों पर केन्द्रित होगा । इस कार्यक्रम का आयोजन विकासखंड स्तर पर उत्कृष्ट विद्यालयों में शनिवार और रविवार को सुबह 11 बजे से किया जायेगा । आसमाँ के पार कार्यक्रम की शुरूआत कल शनिवार 17 अगस्त को सुबह 11 बजे जबलपुर जिला मुख्यालय स्थित पंडित लज्जाशंकर झा उत्कृष्ट माध्यमिक विद्यालय मॉडल स्कूल से की जायेगी । इसके बाद जिले के अन्य विकासखंड मुख्यालयों पर इस कार्यक्रम का आयोजन किया जायेगा । इसके लिए कैलेण्डर तैयार कर लिया गया है ।
      आसमाँ के पार कार्यक्रम में जहां बारहवीं कक्षा में अध्ययनरत बच्चों को उच्च शिक्षा एवं तकनीकी शिक्षा संस्थानों के विशेषज्ञ शिक्षकों द्वारा उच्च शिक्षा के लिए उनकी रूचि और काबिलियत के अनुसार पाठयक्रम का चयन करने में मदद की जायेगी वहीं दसवीं में अध्ययनरत बच्चों को बताया जायेगा कि कौन-से विषय का चयन करना उनके भविष्य के लिए बेहतर होगा । कलेक्टर सहित जिले में पदस्थ सभी वरिष्ठ अधिकारी भी इस कार्यक्रम में शामिल होंगे तथा बच्चों को कैरियर के चयन में सहायता करेंगे ।
      आसमाँ के पार कार्यक्रम को लेकर आज शुक्रवार को कलेक्टर भरत यादव ने कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित बैठक में स्कूली बच्चों को कैरियर चुनने के बारे में मार्गदर्शन देने के लिए जिले में प्रारंभ किये जा रहे इस कार्यक्रम को महत्वपूर्ण बताया । कलेक्टर भरत यादव ने कहा कि शासकीय स्कूलों के बच्चे प्रतिभा के मामले में पीछे नहीं है जरूरत उन्हें सही दिशा देने की है ।  आसमाँ के पार कार्यक्रम का उद्देश्य भी यही है ।
      कलेक्टर ने कार्यकम के तहत सेवायें दे रहे विशेषज्ञों को कैरियर के बारे में मार्गदर्शन देने के साथ-साथ बच्चों में आत्म विश्वास पैदा करने पर ज्यादा ध्यान देने का आग्रह किया । उन्होंने कहा कि बच्चों में खुद की काबिलियत पर भरोसा पैदा करना ज्यादा जरूरी है । इसके साथ ही बच्चों का हौसला बढ़ाकर उन्हें मुखर बनाया जाना भी आवश्यक है ।
      कलेक्टर भरत यादव ने मौके पर विशेषज्ञों से कहा कि उनके सामने बच्चों के भविष्य को संवारने का एक अच्छा अवसर है ।  उन्हें इसे चुनौती के रूप में स्वीकार करना होगा ।  कलेक्टर ने कहा वे खुद इन कार्यक्रमों में शामिल होंगे और बच्चों को अपने अनुभव के आधार पर बतायेंगे कि किस तरह सामान्य परिस्थितियों में रहकर भी आगे बढ़ा जा सकता है ।
      “आसमाँ के पार” कार्यक्रम के तहत आयोजित इस बैठक में जिला पंचायत के सीईओ प्रियंक मिश्र भी मौजूद थे ।  उन्होंने भी बैठक में विकासखंड मुख्यालयों पर आयोजित किये जाने वाले इस कार्यक्रम में ग्रामीण क्षेत्र के ज्यादा से ज्यादा स्कूली बच्चों को शामिल करने पर जोर दिया ।

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