कैट ने दिल्‍ली समेत अन्‍य राज्‍यों में शराब की दुकानें खोलने पर जताया विरोध

नई दिल्‍ली। कोरोना-19 की महामारी और देशव्‍यापी लॉकडाउन 3.0 की शुरुआत के साथ राज्‍य सरकारों ने जो छूट दी थी, उसका लोगों ने पहले दिन दिन मजाक बना दिया। लॉकडाउन के तीसरे चरण में दिल्‍ली समेत विभिन्न राज्य सरकारों ने शराब की दुकानों को खोले की इजाजत दी थी, लेकिन अधिकांश जगह लोगों ने सोशल डिस्‍टेंसिंग का पालन नहीं किया, जिसकी वजह से पुलिस ने सोमवार को लाठीचार्ज भी किया। इससे भगदड़ भी मची और कई लोगों को गंभीर चोट भी आई है। हालांकि, दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री अरविंद केजरीवाल सरकार ने लोगों से पहले से तय गाइडलाइन का पालन लोगों से करने की अपील की है।
व्‍यापारियों के संगठन कन्‍फेडरेशन आॉफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने इस कदम को वर्तमान गंभीर परिस्थितियों में बेहद निंदनीय करार देते हुए इसका पुरजोर विरोध किया है। कैट ने एक बयान जारी कर कहा कि इससे लॉकडाउन का मूल उद्देश्य ही ध्वस्त हो जाएगा। वहीँ, राजधानी दिल्ली सहित देश के अन्‍य राज्‍यों के व्यापारियों के साथ अन्याय भी होगा, जिन्‍होंने कोरोना को फैलने के डर से जरूरी समानों को छोड़कर देशभर में अन्‍य कारोबार को बंद करने का आदेश दे दिया गया है,जिसका करोबारी और व्यापारी अक्षरश: पालन भी कर रहे हैं।
कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने विभिन्न राज्य सरकारों के शराब की दुकानों को खोले जाने की कड़ी आलोचना की है और कहा कि यह निर्णय राजस्व प्राप्त करने के स्वार्थ का जीता जागता सबूत है। इस निर्णय से राज्‍य की सरकारों ने नागरिकों के स्‍वास्‍थ्‍य के साथ खिलवाड़ किया है, जिसकी जितनी निंदा की जाए कम है।
खंडेलवाल ने राज्‍य सरकारों पर सवाल उठाते हुए कहा कि क्या देश में कोरोना का भय कम हो गया है, जिसके कारण इन दुकानों को खोला गया है। यदि ऐसा है तो व्यापारियों की दुकाने खोले जाने का आदेश क्यों नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि शराब के प्रत्येक बोतल पर स्पष्ट लिखा रहता है की शराब पीना स्‍वास्‍थ्‍य के लिए है। ऐसे में इस नाजुक दौर में केवल राजस्व हासिल करने के लिए इन दुकानों को खोला गया है, जिससे यह साफ़ स्पष्ट होता है की सरकारों को लोगों के स्वास्थय के बजाय अपने राजस्व की चिंता ज्‍यादा है।
कैट महामंत्री ने कहा कि अनेक स्थानों पर शराब की दुकाने खुलीं, लेकिन अनेक शराब की दुकानों पर सामाजिक दूरी पूरी तरह ध्वस्त हो गई, जिसके कारण बड़ी संख्यां में और अधिक लोगो के संक्रमण की संभावना से इंकार भी नहीं किया जा सकता है। खंडेलवाल ने दिल्‍ली समेत देश की सभी राज्य सरकारों से ये मांग कि है की या तो शराब की दुकानों को बंद किया जाए या अन्‍य व्यापारियों को भी अपनी दुकानें खोलने की अनुमति दी जाए।
आश्चर्यजनक बात यह भी है कि नई कोंडली, मयूर विहार फेज 3, कोटला, तथा दिल्ली के कई स्थान पर यह ठेके प्रात 7:30 पर ही खोल दिये और शराब की एक पेटी पर 500 रुपए कमीशन ले कर इन कर्मियों ने बहुत धांधली की जिसके चलते लोगों की भीड़ भड़क गई और नई कोंडली क्षेत्र में पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा। 
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