स्कूल में 7 साल के मासूम का मर्डर: बस कंडक्टर ने किया था यौन शोषण का प्रयास, गिरफ्तार

साइबर सिटी गुरुग्राम के प्रतिष्ठित निजी स्कूल रायन इंटरनेशनल में शुक्रवार को दूसरी कक्षा के छात्र की गला काटकर हत्या कर दी गई। सात साल के मासूम प्रद्युम्न ठाकुर का शव स्कूल शुरू होने के महज 15 मिनट बाद टॉयलेट में मिला। शव के पास से एक चाकू भी बरामद किया गया था।
 
पुलिस ने देर शाम हत्या के आरोप में स्कूल बस के कंडक्टर को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस के अनुसार, आरोपी अशोक कुमार (42) ने हत्या से पहले बच्चे से कुकर्म की कोशिश की थी। घामड़ौज निवासी अशोक ने पूछताछ में अपना जुर्म कबूल कर लिया है।

डीसीपी ने बताया कि आरोपी ने बच्चे का यौन उत्पीड़न करने का प्रयास किया था, जब बच्चे ने विरोध किया तो आरोपी ने उसे मार डाला। डीसीपी ने बताया कि अभियुक्त पिछले करीब 8 महीने से स्कूल में काम कर रहा था। आरोपी शौचालय का इस्तेमाल करने गया था, यहीं उसने बच्चे को देखा था। आरोपी के पास पहले से ही चाकू था।
 
सुबह मासूम की हत्या की सूचना के बाद सैकड़ों अभिभावकों ने स्कूल में तोड़फोड़ की। परिजनों ने स्कूल की तरफ से सांत्वना देने पहुंचे शिक्षकों पर भी हमला बोल दिया। स्कूल के बाहर खड़ी गाड़ियों को भी नुकसान पहुंचाया गया। मामला बिगड़ता देख पुलिस ने कैंपस में इकट्ठा सभी अभिभावकों को खदेड़ दिया। हंगामा कर रहे चार अभिभावकों को हिरासत में भी लिया गया। घटना के बाद स्कूल में छुट्टी कर दी गई।

पहले से ही टॉयलेट में छिपा था आरोपी

स्कूल के पीछे ही श्यामकुंज गली-2 में रहने वाले प्रद्युम्न को उसके पिता वरुण ठाकुर सुबह करीब 7:55 बजे स्कूल के गेट पर छोड़कर आए थे। इसके थोड़ी देर बाद 8:10 बजे स्कूल के एक माली ने खून से लथपथ प्रद्युम्न को टॉयलेट के बाहर गिरा देखा। पास में ही खून से सना चाकू पड़ा हुआ था। पुलिस को तत्काल सूचित किया गया। पिता को बच्चे की तबीयत खराब होने की खबर दी गई। सेक्टर-51 के आर्टेमिस अस्पताल पहुंचने पर डॉक्टरों ने प्रद्युम्न को मृत घोषित कर दिया।

पुलिस के मुताबिक, आरोपी अशोक किसी भी बच्चे के साथ कुकर्म की नीयत से पहले से टॉयलेट में छिपा था। जैसे ही प्रद्युम्न वहां पहुंचा, अशोक ने उससे कुकर्म की कोशिश की। जब बच्चे ने विरोध किया तो आरोपी डर गया कि कहीं वह इस घटना के बारे में दूसरों को न बता दे। आरोपी ने इस घटना को दबाने के लिए प्रद्युम्न का गला काट दिया।

किसी को शक नहीं हो, इसके लिए वह खुद भी बच्चे को स्कूल प्रबंधक के साथ मिलकर अस्पताल तक ले गया था। दो बच्चों ने अशोक को टॉयलेट जाते देखा था।  सूत्रों के मुताबिक, पुलिस ने इस मामले में तीन बच्चों से भी पूछताछ की थी। जिसमें पता चला कि दो बच्चों ने अशोक को टॉयलेट में जाते देखा था। पूरे मामले पर निगरानी कर रहे डीसीपी कमिश्नरी सिमरदीप सिंह ने आरोपी अशोक की गिरफ्तारी की पुष्टि की है। उधर, डीजीपी बीएस संधु के अनुसार, इस मामले में गुरुग्राम पुलिस से रिपोर्ट मांगी गई है।

किसने क्या कहा

- मैं बच्चे को सही-सलामत स्कूल छोड़कर गया था। स्कूल ने लापरवाही बरती है। हमें बच्चे की तबीयत खराब बताई गई। यह साफ तौर पर हत्या का मामला है।
वरुण ठाकुर, बच्चे के पिता

- हमें खुद कुछ नहीं पता कि आखिर यह कैसे हुआ? पुलिस ही इस मामले में कुछ बता सकती है। हमारे लिए भी यह दुखद घटना है।
नीरज बत्रा, कार्यवाहक प्राचार्य

गुस्साए अभिभावकों ने किया हंगामा

मासूम की हत्या की सूचना के बाद करीब एक हजार अभिभावक भोंडसी स्थित स्कूल के बाहर जमा हो गए। गुस्साए अभिभावकों ने स्कूल में जमकर तोड़फोड़ की और सिविल लाइन स्थित पोस्टमार्टम हाउस के बाहर भी सड़क जाम कर दी। परिजनों ने स्कूल की तरफ से सांत्वना देने पहुंचे शिक्षकों पर भी हमला बोल दिया। पत्थर मारकर स्कूल के बाहर खड़ी गाड़ियों के शीशे तोड़ दिए। मामला बिगड़ता देख पुलिस ने कैंपस में इकट्ठा सभी अभिभावकों को खदेड़ दिया। हंगामा कर रहे चार अभिभावकों को हिरासत में भी लिया गया। घटना के बाद स्कूल में छुट्टी कर दी गई।

5 अनसुलझे सवाल

- आखिर 15 मिनट में ही कैसे हुई हत्या?
- स्कूल परिसर में चाकू कैसे आया? इतनी बेरहमी से कत्ल की क्या वजह हो सकती है?
- प्रद्युम्न क्लास में जाने के बजाय सीधे टॉयलेट में क्यों गया?
- बैग के साथ टॉयलेट जाने की बात कई सवाल खड़े करती है?
- जिस गलियारे में टॉयलेट था, वहां सीसीटीवी कैमरे क्यों नहीं है?

स्कूल में मासूमों की मौत

- पहली अगस्त 2017 को यूपी के गाजियाबाद में इंदिरापुरम के जीडी गोयनका स्कूल में चौथी कक्षा के एक छात्र की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। बच्चा स्कूल में फर्श पर गिरा हुआ मिला था, जिसे फौरन अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था।

- 30 जनवरी, 2016 को दिल्ली के वसंत कुंज स्थित रायन इंटरनेशनल स्कूल में 6 साल के बच्चे का शव वाटर टैंक में संदिग्ध हालत में मिला था। दिव्यांश नामक यह बच्चा स्कूल में पहली कक्षा का छात्र था तथा वह कविता प्रतियोगिता में भाग लेने स्कूल आया था।

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