बलिया के बेटे का राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार, बेटे पूछ रहे, 'कहां गए पापा?'

बलिया
पाकिस्तान के सीजफायर में शहीद हुए बृजेंद्र बहादुर सिंह का पार्थिव शरीर उनके गृह नगर लाया गया और राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया गया। उनके मासूम बेटे ने अपने पिता को मुखाग्नि दी।
उन्हें अंतिम विदाई देने के लिए लोगों का तांता लग गया। शुक्रवार को उनकी शहादत की खबर को बाद से ही लोग उनके घर पहुंच श्रद्धांजलि दे रहे थे। वहीं लोगों को अपने पिता को अंतिम विदाई देता देख शहीद बृजेंद्र के बच्चे समझ नहीं पा रहे कि उनके पापा कहां गए।
बृजेंद्र जम्मू के अरनिया सेक्टर में BSF 192 बटालियन में तैनात थे। शुक्रवार को पाकिस्तान के सीजफायर में वह शहीद हो गए थे। अपने इकलौते बेटे को खोने के बाद भी बृजेंद्र के पिता अपने पोतों को देश के नाम करने के लिए तत्पर हैं। बृजेंद्र के गांव के लोग 'भारत माता की जय' के नारे लगाते नहीं थक रहे।
शहीद को अंतिम विदाई देने के लिए नेता प्रतिपक्ष राम गोविंद चौधरी के साथ भाजपा सांसद सलेमपुर रविंद्र कुशवाहा और मंत्री श्रीकांत शर्मा भी नारायनपुर शहीद को श्रद्धांजलि देने पहुंचे।

शहीद के नाम पर बनेंगे स्मारक, परिवार को 25 लाख
उत्तर प्रदेश के मंत्री श्रीकांत शर्मा शहीद बृजेंद्र को श्रद्धांजलि देने पहुंचे। उन्होंने परिवार को 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की। बृजेंद्र के सम्मान में उन्होंने एक गेटवे और स्मारक के निर्माण का ऐलान भी किया है। इसके साथ ही उन्होंने खेल के एक मैदान का नाम भी बृजेंद्र के नाम पर रखने की घोषणा की।
मासूम पूछ रहे, 'कहां गए पापा?'
शहीद बृजेंद्र के दो मासूम बेटे लोगों को रोता देखते हुए और पापा के शव पर लोगों के फूल चढ़ाते देखकर पूछ रहें हैं, 'पापा कहां चले गए?' शहीद बृजेंद्र के छह साल के बड़े बेटे भूपेंद्र और तीन साल के संतराज के इन मासूस सवालों का जवाब किसी के पास नहीं है।

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